शिकोहाबाद: जेएस परिसर में बने नवनिर्मित प्रेक्षागृह का हाईकोर्ट न्यायमूर्ति ने किया लोकार्पण

शिकोहाबाद। जेएस विश्वविद्यालय में विश्वविद्यालय के नव निर्मित प्रेक्षागृह का लोकार्पण न्यायमूर्ति उच्च न्यायालय इलाहाबाद द्वारा किया गया। प्रेक्षागृह के लोकार्पण से यह दिन और भी विशेष बन गया क्योंकि हिंदी दिवस के अवसर पर आयोजित कार्यक्रम में मुख्य अतिथि न्यायमूर्ति ने हिंदी के महत्व को उजागर किया। उन्होंने कहा कि इन मामलों का निपटारा केवल तीन वर्षों और आठ महीनों में किया गया। जो उनकी भाषा और न्याय के प्रति गहरी प्रतिबद्धता को दर्शाता है।

मुख्य अतिथि न्यायमूर्ति डॉ. गौतम  चौधरी  ने बताया कि उन्होंने अपने 13162 मामलों को हिंदी भाषा में न्याय देने की प्रेरणादायक कहानी साझा की और न्यायपालिका में हिंदी के महत्व को उजागर किया। उन्होंने यह भी बताया कि इन मामलों का निपटारा केवल 3 वर्षों और 8 महीनों में किया, जो उनकी भाषा और न्याय के प्रति गहरी प्रतिबद्धता को दर्शाता है।

उद्घाटन समारोह के दौरान न्यायमूर्ति डॉ. गौतम  चौधरी  ने कहा कि हिंदी हमारी संस्कृति की आत्मा है और इसे न्यायपालिका में अधिक उपयोग करने से अदालतों और जनता के बीच की खाई को पाटने में मदद मिलती है। हिंदी का उपयोग केवल एक भाषा के रूप में नहीं, बल्कि एक सशक्त माध्यम के रूप में होना चाहिए। जो न्याय की पहुंच को हर नागरिक तक सुलभ बनाए। हमारी संविधान निर्मात्री सभा ने इसे हमारी आधिकारिक भाषा के रूप में अपनाया और हम सभी की जिम्मेदारी है कि इसे सभी क्षेत्रों में प्रोत्साहित करें। उनके विचारों ने उपस्थित लोगों को गहराई से प्रभावित किया और हिंदी के महत्व को लेकर उनकी प्रतिबद्धता को दर्शाया।

समारोह में विशिष्ट अतिथि जिला जज हरवीर सिंह ने कहा कि हिंदी हमारी पहचान का अभिन्न हिस्सा है। समारोह मे सामाजिक कार्यकर्ता और योग गुरु मधु चैधरी की उपस्थिति रही। कार्यक्रम में सांस्कृतिक प्रस्तुतियों का एक शानदार प्रदर्शन भी हुआ। इस अवसर पर विभिन्न प्रतियोगिताओं के विजेताओं को सम्मानित किया गया। निबंध, लेखन, कविता और कहानी प्रतियोगिताओं में शीर्ष तीन स्थान प्राप्त करने वाले छात्रों को विशेष पुरुस्कार प्रदान किए गए।

इस अवसर पर विश्वविद्यालय के कुलाधिपति डॉ.सुकेश यादव, प्रति कुलाधिपति डॉ. पीएस यादव, कुलपति डॉ.बीपी अग्रवाल, महानिदेशक डॉ.गौरव यादव, वाईस चेयर पर्सन डॉ.गीता यादव, मैनेजिंग ट्रस्टी अशोक कुमार, हिमांशु यादव, शुभम यादव, श्रुति यादव एवं निधि यादव की उपस्थित सराहनीय रही। महानिदेशक डॉ.गौरव यादव ने सभी अतिथियों और उपस्थित लोगों के प्रति आभार व्यक्त किया। संचालन डॉ. नूपुर राघव और इंजी. आकांक्षा दीक्षित ने किया।

Ravi
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रवि एक प्रतिभाशाली लेखक हैं जो हिंदी साहित्य के क्षेत्र में अपनी अनूठी शैली और गहन विचारधारा के लिए जाने जाते हैं। उनकी लेखनी में जीवन के विविध पहलुओं का गहन विश्लेषण और सरल भाषा में जटिल भावनाओं की अभिव्यक्ति होती है। रवि के लेखन का प्रमुख उद्देश्य समाज में सकारात्मक परिवर्तन लाना और पाठकों को आत्मविश्लेषण के लिए प्रेरित करना है। वे विभिन्न विधाओं में लिखते हैं,। रवि की लेखनी में मानवीय संवेदनाएँ, सामाजिक मुद्दे और सांस्कृतिक विविधता का अद्वितीय समावेश होता है।

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